यंगवार्ता न्यूज़ - ऊना 01-06-2023
ऊना जिले में पकड़ी 10 ड्रम स्पिरिट सहित कुल 30 ड्रमों की डिलीवरी समूरकलां में एक ईंटों के डम्प के नाम और सोलन जिला के बद्दी की एक फर्म के नाम पर आई थी। इनमें से 5 ड्रमों की डिलीवरी पपरोला की फर्म के नाम से बद्दी के एक उद्योग के नाम पर भेजी गई थी जिसकी ऊना में ही डिलीवरी ले ली गई। इन दोनों फर्मों के लिए वैस्ट बंगाल से चलकर इन ड्रमों की सप्लाई उत्तराखंड के रुद्रपुर पहुंची और यहां से यह सप्लाई दोबारा डिस्पैच हुई।
अब तक कुल 30 ड्रम ऊना में एक निजी ट्रांसपोर्ट पहुंचे थे जिनमें से 10-10 ड्रमों को 2 लोग 2 बार जीपों में भरकर ले गए जबकि ट्रांसपोर्ट में 10 ड्रम बच गए, जिनकी सप्लाई होने से पहले ही पुलिस ने इनको जब्त कर लिया। बिलों में अंकित फर्मों का क्या रोल है और क्या कानूनों की पालना करके स्पिरिट के ड्रम प्रयोग किए गए हैं इन सब तथ्यों को पुलिस खंगाल रही है। इस मामले में पुख्ता जानकारी के अनुसार ट्रांसपोर्ट को इन ड्रमों की सप्लाई नहीं करने दी जाती थी बल्कि ट्रांसपोर्ट के कार्यालय से ही इन ड्रमों को उठा लिया जाता था। ट्रांसपोर्ट में बाकायदा डिलीवरी लेने आए दोनों लोगों के दस्तावेज लिए गए हैं और पिकअप के नंबर भी दर्ज हैं।
इनमें से एक अश्विनी निवासी नंगल एक बार 10 ड्रमों की सप्लाई ले जा चुका था जबकि दूसरा आरोपी बिलासपुर जिला के ग्वाल थाई क्षेत्र का बताया जा रहा है जबकि जीप में 10 ड्रम ले जा चुका था। ऊना की ट्रांसपोर्ट से स्पिरिट के ड्रमों की सप्लाई जिस पिकअप का नम्बर सामने आया है वह गाड़ी पालमपुर निवासी गौरव मिन्हास की पत्नी के नाम पर पाई गई है। इस मामले में उसकी भूमिका की भी जांच कर रही है। ग्वाल थाई निवासी व्यक्ति की तलाश भी पुलिस कर रही है। ट्रांसपोर्ट में आए स्पिरिट के ड्रमों की डिलीवरी पर 2 जगहों के एड्रेस अंकित थे। उनमें एक समूरकलां ईंटों का डम्प दर्ज था जबकि एक डिलीवरी पर कांगड़ा जिला की एक नामक फर्म का एड्रेस अंकित था।
इन पर इन ड्रमों की सप्लाई होनी थी। अब इन ड्रमों को कहां ले जाया गया और क्या किया गया पुलिस इसकी जांच में जुटी हुई है। गौर हो कि मेंहतपुर के गोदाम में जब 375 पेटी शराब पकड़ी गई थी तो वहां 16 खाली ड्रम भी पुलिस को जांच के दौरान मिले थे और यहां कुछ सामान को जलाया भी गया था। यहां खाली ड्रमों के साथ मिनरल वाटर के कैन भी पाए गए थे जिनको जांच में शामिल किया गया है। पुलिस अब जांच कर रही है कि क्या ट्रांसपोर्ट से उठाए स्पिरिट के ड्रमों को मैहतपुर गोदाम ले जाया गया और यहां शराब बनाई गई या कहीं और इसका इस्तेमाल किया गया है।