बर्ड फ्लू कंट्रोल करने के लिए फील्ड में डटी वन विभाग की टीमें

बर्ड फ्लू कंट्रोल करने के लिए फील्ड में डटी वन विभाग की टीमें

यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला   10-01-2021

कांगड़ा पौंग डेम में फैले बर्ड फ्लू को कंट्रोल करने के लिए वन विभाग के वाइल्ड लाइफ विंग लगातार योजनाओं पर काम करते हुए फील्ड पर जुटा हुआ है। डेढ़ साल से नगरोटा सूरियां में खाली पड़े वाइल्ड लाइफ के अधिकारी के पद को अस्थायी तौर पर भर दिया गया है। 

यहां चंबा से वाइल्ड लाइफ के एसीएफ को भेजा गया है, जो कि डीएफओ हमीरपुर वाइल्ड लाइफ के साथ मिलकर काम करेंगे और स्थिति को नियंत्रित करेंगे। नगरोटा सूरियां में जो कंट्रोल रूम यहां खोला गया है, वह भी इन्हीं के अंडर चलेगा।

कंट्रोल रूम ने यहां कार्य करना शुरू कर दिया है। पौंग डैम में अभी तक 3750 से ज्यादा पक्षियों की मौत हो गई है। रोजाना 300 के करीब मरे हुए पक्षी विभिन्न जगहों से मरे हुए मिल रहे हैं। नगरोटा सूरियां में कंट्रोल रूम स्थापित किया है, वहां हर तरह की जानकारी ली और दी जा रही है। 

इस कंट्रोल रूम में बर्ड फ्लू से संबंधित सभी तरह की गतिविधियों पर नजर रखी जा रही है। हालांकि यहां वन विभाग की दस आरआरटी लगी हुई हैं, जबकि 55 अन्य टीमें भी काम कर रही हैं। 

पीसीसीएफ वाइल्ड लाइफ डॉ अर्चना शर्मा के अनुसार अभी बाकी जिलों में बर्ड फ्लू की पुष्टि नहीं हुई है, बाकी जिलों से कौवे और मुर्गियों के सैंपल जालंधर की प्रयोगशाला को भेज दिए हैं।

सरकार और प्रशासन के लिए राहत की बात यह है कि प्रदेश में अभी तक मुर्गे और मुर्गियों में बर्ड फ्लू का कोई भी मामला सामने नहीं आया है। जो रिपोर्ट जालंधर भेजी गई थी, उनमें रिपोर्ट नेगेटिव आई है। 119 के करीब पॉल्ट्री फार्म और घरेलू पाले गए मुर्गे-मुर्गियों के सैंपल जांच के लिए भेजे गए थे, अभी तक राज्य में कहीं भी ऐसी मरने की घटना सामने नहीं आई है।

वाइल्ड लाइफ विंग के अनुसार अभी तक 4020 प्रवासी परिंदों की मौत बर्ड फ्लू से हो चुकी है। डीएफओ वाइल्ड लाइफ हमीरपुर की मौके पर ही मौजूद रहे। वह वहां पर चल रहे कार्यों का निरीक्षण करते रहे। 

इसके अलावा नौ जनवरी को पौंग डैम एरिया से 318 प्रवासी परिंदों के शव मिल चुके हैं। सभी को वैज्ञानिक तरीके से डिस्पोज ऑफ किया जा चुका है। बहरहाल रोजाना प्रवासी परीदों के शव मिलने का सिलसिला जारी है।