सैनिक सम्मान के साथ पंचतत्व में विलीन हुए शहीद प्रमोद नेगी हजारों नम आंखों ने दी अंतिम विदाई

जम्मू कश्मीर में आतंकी मुठभेड़ में शहीद हुए जिला सिरमौर के शिलाई  के प्रमोद नेगी  आज सैनिक सम्मान के साथ उनके पैतृक गांव शिलाई में हजारों नम आंखों ने अंतिम विदाई दी  सिलाई में देर शाम को शहीद प्रमोद नेगी को हजारों नम आंखों ने अंतिम विदाई दी  उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान और पूर्व विधायक बलदेव तोमर ने दी श्रद्धांजलि

सैनिक सम्मान के साथ पंचतत्व में विलीन हुए शहीद प्रमोद नेगी हजारों नम आंखों ने दी अंतिम विदाई
सैनिक सम्मान के साथ पंचतत्व में विलीन हुए शहीद प्रमोद नेगी हजारों नम आंखों ने दी अंतिम विदाई
 
यंगवार्ता न्यूज़ - शिलाई  06-05-2023
 
जम्मू कश्मीर में आतंकी मुठभेड़ में शहीद हुए जिला सिरमौर के गिरिपार में शिलाई के प्रमोद नेगी को आज सैनिक सम्मान के साथ उनके पैतृक गांव हजारों नम आंखों ने अंतिम विदाई दी। शिलाई में देर शाम को शहीद प्रमोद नेगी को हजारों नम आंखों ने श्रद्धांजलि दी। इस अवसर पर हजारों की भीड़ एकत्रित हो रखी थी। गौर हो कि कल जम्मू कश्मीर में आतंकी मुठभेड़ में देश के 5 जवान शहीद हुए थे जिनमें 2 जवान हिमाचल प्रदेश के भी शामिल थे।  इनमें प्रमोद नेगी भी शामिल था। 
 
 
आज दोपहर करीब 1 बजे शहीद प्रमोद नेगी का पार्थिव शरीर देहरादून से पांवटा साहिब लाया गया। जहां बॉर्डर पर हजारों लोगों ने शहीद को अंतिम नमन किया। उसके बाद शहीद प्रमोद नेगी का पार्थिव शरीर  शिलाई  लाया गया। इस बीच पावटा से लेकर शिलाई  तक जगह-जगह लोगों ने शहीद को नमन किया।  शिलाई में हजारों की भीड़ एकत्रित थी जैसे ही शहीद का पार्थिव शरीर  शिलाई  पहुंचा तो शहीद प्रमोद नेगी अमर रहे के नारों से पूरा क्षेत्र गुंजायमान हो गया। इस मौके पर हिमाचल प्रदेश के उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने भी श्रद्धांजलि दी। 
 
 
शिलाई  के पूर्व विधायक बलदेव तोमर ने भी शहीद को अंतिम नमन किया और शहीद प्रमोद नेगी के माता-पिता को सांत्वना दी। शनिवार शाम करीब 5:15 बजे शहीद प्रमोद की पार्थिव देह उनके पैतृक गांव पहुंची जहां उनके आंगन में हजारों की भीड़ पहले से ही एकत्रित थी। जैसे ही पार्थिव शरीर गांव में पहुंचा तो पूरा गांव चीख-पुकार से गूंज गया। 
 
 
इस मोके पर हर आंख नम थी।  इस दौरान शहीद की मां पिता और अन्य परिजनों का रो रो कर बुरा हाल था। वही उन्हें  इस बात का गर्व भी था कि उनका लाल देश के काम आया। उसके उपरांत देर शाम को सैनिक सम्मान के साथ पैतृक गांव में हजारों की भीड़ ने अंतिम नमन किया।