स्वास्थ्य क्षेत्र में बड़ी लापरवाही पर स्वास्थ्य महकमे को करीब साढ़े छह लाख रुपए जुर्माना

उपभोक्ता संरक्षण आयोग कांगड़ा की अदालत ने स्वास्थ्य क्षेत्र में सामने आई बड़ी लापरवाही पर स्वास्थ्य महकमे को करीब साढ़े छह लाख रुपए जुर्माना

स्वास्थ्य क्षेत्र में बड़ी लापरवाही पर स्वास्थ्य महकमे को करीब साढ़े छह लाख रुपए जुर्माना

यंगवार्ता न्यूज़ -  धर्मशाला     05-06-2022

उपभोक्ता संरक्षण आयोग कांगड़ा की अदालत ने स्वास्थ्य क्षेत्र में सामने आई बड़ी लापरवाही पर स्वास्थ्य महकमे को करीब साढ़े छह लाख रुपए जुर्माना किया गया है। डा. राजेंद्र प्रसाद मेडिकल कालेज एवं अस्पताल टांडा और स्वास्थ्य निदेशालय को छह लाख 47 हजार रुपए का जुर्माना लगाया गया है। 

वर्ष, 2016 में टीएमसी में आंखों का आपरेशन करवाने के बाद चार लोगों की आंखों की रोशनी जाने के मामले में शनिवार को उपभोक्ता आयोग की अदालत ने फैसला सुनाया है। 

इस मामले में जांच के दौरान पाया गया कि टीएमसी के चिकित्सकों ने आपरेशन तो ठीक किया था, लेकिन टीएमसी के जिस आपरेशन थिएटर में उक्त चार लोगों के आपरेशन हुए थे, वहां पहले से ही इन्फेक्शन था।

उपकरणों के माध्यम से यह इन्फेक्शन मरीजों की आंखों तक पहुंच गया। इस मामले में उपभोक्ता संरक्षण आयोग कांगड़ा की अदालत के अध्यक्ष हिमांशु मिश्रा, सदस्य नारायण ठाकुर व आरती सूद ने सरकार, सेक्रेटरी हैल्थ, डायरेक्टर हैल्थ एजुकेशन, टीएमसी प्रशासन और आप्रेशन थिएटर की सफाई को दवाई उपलब्ध करवाने वाली कंपनी को कसूरवार मानते हुए छह लाख 47 हजार रुपए सात प्रतिशत ब्याज दर के साथ जुर्माना के आदेश दिए हैं। 

न्यायालय ने मामले में पीडि़त त्रिलोक चंद, इच्छया देवी और संजीवन शर्मा को एक लाख 35 हजार रुपए वर्ष 2017 से अब तक सात प्रतिशत ब्याज दर के साथ और 15-15 हजार रुपए शिकायत शुल्क देने के आदेश दिए। वहीं, गीता देवी, जिनकी दूसरी आंख में भी 40 प्रतिशत तक संक्रमण फैल गया था, उन्हें दो लाख 42 हजार रुपए सात फीसदी ब्याज सहित और एक लाख 15 हजार रुपए अतिरिक्त राहत राशि देने के आदेश दिए हैं। 

पीडि़तों में त्रिलोक चंद की मृत्यु हो चुकी है, जिसके चलते उनकी राशि उनके बेटों को दी जाएगी। पीडि़तों को यह राशि टीएमसी प्रशासन और स्वास्थ्य निदेशालय को देने के निर्देश दिए गए हैं। (एचडीएम)

पीडि़तों की ओर से मामले की पैरवी अधिवक्ता एमजी ठाकुर ने की। उन्होंने बताया कि 14 दिसंबर 2016 को जिला कांगड़ा के त्रिलोक कुमार निवासी नगरोटा बगवां, गीता देवी निवासी डाडासीबा, इच्छया देवी निवासी सोलहदा और संजीवन शर्मा निवासी ज्वाली ने मोतिया बिंद के चलते टांडा मेडिकल कालेज में अपनी एक-एक आंख का आपरेशन करवाया था। इसके बाद उक्त चारों की आंखों की रोशनी चली गई। 

टांडा में आपरेशन थिएटर में दो महिला व एक पुरुष डाक्टर की टीम थी, जिन्होंने उनकी आंखों का आपरेशन किया था। मामले की जांच में पाया गया कि चिकित्सकों ने आपरेशन सही तरीके से किया था और मरीजों को दवाइयां भी सही दी थीं। 

हालांकि आपरेशन के दौरान ओटी में एमएसएसए नाम का इन्फेक्शन था। यह इन्फेक्शन आपरेशन में उपयोग हुए उपकरणों के माध्यम से मरीजों की आंखों में पहुंच गया था। इसमें टीएमसी प्रशासन की स्वच्छता को लेकर चूक सामने आई थी।