किसानों और बागवानों की आय दोगुना करने को एपीएमसी अधिनियम-2020 लागू
यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला 10-09-2020
हिमाचल के किसानों और बागवानों की आय दोगुना करने को एपीएमसी अधिनियम-2020 लाया गया है। फसलों के विपणन में आने वाली चुनौतियों से निपटने को यह कदम उठाया गया है। इससे किसान अपनी फसलें अच्छे दाम पर कहीं भी बेच सकेंगे।
प्रदेश में निजी मंडियां भी खोली जा सकेंगी। कुल 258 कृषि और बागवानी फसलों को मंडियों में बेचा जा सकेगा। इनमें गेहूं, दालें, तिलहन, चावल, मसाले, फूल और बीज आदि शामिल हैं।
विधानसभा में कृषि मंत्री वीरेंद्र कंवर ने बुधवार को सदन में हिमाचल प्रदेश कृषि उपज विपणन (संवर्धन और सरलीकरण) विधेयक-2020 प्रस्तुत किया।
अब किसान फसल किसी भी राज्य में बेचने के लिए स्वतंत्र रहेगा। पहले यह व्यवस्था नहीं थी। कृषि प्रसंस्करण, विपणन में स्वस्थ प्रतिस्पर्धा और कृषि निर्यात बढ़ाने को प्रोत्साहित किया जाएगा।
किसानों और बागवानों के लिए कोल्ड और सीए स्टोर की व्यवस्था की जाएगी। कृषि फसलें बेचने वालों से कोई शुल्क नहीं लिया जाएगा। यह मार्केट के लाइसेंस धारकों से लिया जाएगा।
मार्केट कमेटी में 16 सदस्य होंगे। इनमें डीसी उपाध्यक्ष और दस गैर सरकारी सदस्य होंगे। 25 साल से कम उम्र का कमेटी का सदस्य नहीं बन पाएगा। सदस्य किसी केस में संलिप्त न हो। कमेटी अध्यक्ष का चयन सदस्य करेंगे।
अध्यक्ष पद खाली होने पर उपाध्यक्ष अपनी शक्तियों का प्रयोग कर सकेगा। अध्यक्ष लगातार तीन बैठकों में गैर मौजूद नहीं रह सकता। पुराना अध्यक्ष पद न छोड़े तो एपीएमसी के एमडी नए अध्यक्ष को कार्यभार और दस्तावेज सौंप सकते हैं।
हिमाचल एपीएमसी बोर्ड में बीस सदस्य होंगे। कृषि सचिव उपाध्यक्ष और दस गैर सरकारी सदस्य होंगे। ई-ट्रेडिंग का भी बढ़ावा दिया जाएगा। मंडियों से होने वाली ट्रेडिंग पर पूरी निगरानी रहेगी।