हिमाचल में लाल चावल की खेती से पांच वर्षों में जुड़ेंगे दस हजार किसान : कृषि मंत्री

हिमाचल में लाल चावल की खेती से पांच वर्षों में जुड़ेंगे  दस हजार किसान : कृषि मंत्री

यंगवार्ता न्यूज़ - ऊना   14-12-2020

प्रदेश में विलुप्त होने की कगार पर पहुंची लाल चावल की फसल अब फिर से लहलहाने लगी है। कृषि मंत्री वीरेंद्र कंवर ने बताया कि सदियों से खाद्यान्न के रूप में उपयोग की जाने वाली लाल चावल की फसल लगभग 10 हजार वर्ष पुरानी आंकी जाती है। 

कृषि मंत्री वीरेंद्र कंवर ने बताया कि सुगंधित लाल चावल की फसल में विशेष पोषाहार तथा औषधीय तत्त्व विद्यमान होते हैं। उन्होंने बताया कि इस समय लाल चावल की फसल को पानी की बहुतायत वाले चिड़गांव, रोहड़ू, रामपुर, कुल्लू घाटी, सिरमौर तथा कांगड़ा जिला के ऊपरी क्षेत्रों में पैदा किया जाता है। 

राज्य में लोकप्रिय लाल चावल की किस्मों में रोहड़ू में छोहारटू, चंबा में सुकारा तियान, कांगड़ा में लाल झिन्नी तथा कुल्लू में जतू व मटाली किस्में किसानों द्वारा उगाई जाती हैं।  इस समय यह फसल 213 हेक्टेयर भूमि में शिमला जिला के सुरु कूट, कुथरु, गानवी, जांगल, नाडाला, कलोटी, देवीधार आदि क्षेत्रों में उगाई जाती है।

उन्होंने बताया कि चंबा जिला में लाल चावल की फसल 107 हेक्टेयर में मानी, पुखरी, साहो, कीड़ी, लाग, सलूणी व तीसा क्षेत्रों में उगाई जाती है, जबकि कांगड़ा जिला में 416 हेक्टेयर भूमि पर बैजनाथ, धर्मशाला व बंदला आदि क्षेत्रों में उगाई जाती है। 

मंडी जिला में 278 हेक्टेयर भूमि पर जंजैहली, चुराग, थुनाग क्षेत्रों में तथा कुल्लू जिला में 89 हेक्टेयर भूमि चावल की फसल उगाई जाती है। लाल चावल वर्तमान में लगभग 200 रुपए प्रति किलो की दर से बेचा जाता हे, जो कि सफेद चावल के मुकाबले पांच गुणा ऊंची दरों पर बिकता है। 

राज्य में इस समय लगभग 4122 किसान परिवार लाल चावल की खेती करते हैं तथा आगामी पांच सालों में लगभग 10 हजार किसानों को चावल की खेती के अंतर्गत कवर करने का लक्ष्य रखा गया है।

मंत्री वीरेंद्र कंवर ने बताया कि वर्तमान में लाल चावल की फसल राज्य के लगभग 1100 हेक्टेयर भूमि क्षेत्र में उगाई जाती है तथा पिछले वर्षों में लाल चावल की फसल के अधीन क्षेत्रों में हलकी बढ़ोतरी दर्ज की गई है। 

उन्होंने बताया कि राज्य में गत वर्ष के दौरान आठ से 10 क्विंटल प्रति हेक्टेयर औसतन पैदावार दर्ज की गई, जिसके परिणामस्वरुप राज्य में 9926 क्विंटल लाल चावल की फसल का उत्पादन हुआ है। उन्होंने बताया राज्य में आगामी पांच वर्षों में लाल चावल की फसल के तहत 4000 हेक्टेयर क्षेत्र तथा 40000 क्विंटल फसल की पैदावार का लक्ष्य रखा गया है।