उत्तरांचल में जलप्रलय , हंसली नदी पर बना पुल टूटा, बाढ़ के हालात, 46 लोगों की मौत 

सोमवार और मंगलवार को आई आपदा में सबसे ज्यादा नैनीताल जिला प्रभावित हुआ है। कई जगहों पर मकान क्षतिग्रस्त हो गए हैं और कुछ के हताहत होने

उत्तरांचल में जलप्रलय , हंसली नदी पर बना पुल टूटा, बाढ़ के हालात, 46 लोगों की मौत 

यंगवार्ता न्यूज़ - देहरादून   20-10-2021

सोमवार और मंगलवार को आई आपदा में सबसे ज्यादा नैनीताल जिला प्रभावित हुआ है। कई जगहों पर मकान क्षतिग्रस्त हो गए हैं और कुछ के हताहत होने की भी खबर है। सड़क बंद होने से कई जगह लोग फंस गए हैं। वहीं आज मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी आपदा प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण भी करने वाले हैं।
 
रामनगर में चुकुम गांव में लगातार भू-कटाव के कारण दस मकान बह गए। लोग अन्यत्र शरण के लिए मजबूर हैं। प्रशासन की ओर से सुध नहीं ली जा रही है। कोसी नदी का पानी गांव की ओर बह रहा है, जिससे ग्रामीणों में दहशत व्याप्त है।
 
रुद्रपुर के पुलभट्टा क्षेत्र में हंसली नदी का पुल टूट गया है। जिससे यहां दर्जनों मकान क्षतिग्रस्त हो गए हैं। बैराज के दो गेट भी क्षतिग्रस्त हो गए हैं। वहीं हसली नदी में एक व्यक्ति डूब गया है। जिसकी खोजबीन में एनडीआरएफ की टीम लगी है।
 
चंपावत जिले की ग्राम पंचायत दियूरी तोक बेलखेत में क्वैराला नदी पर स्थित झूला पुल की ओर जाने वाला रास्त टूट गया है। जिससे यहां बेलखेत सहित अन्य पांच-छह गांवों का संपर्क पूरी तरह टूट चुका है।
 
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आपदा के मद्देनजर सभी जिलाधिकारियों को राहत कोष के रूप में 10-10 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं। ताकि वह तत्काल सभी व्यवस्थाएं कर सकें।
 
मुख्यमंत्री ने कहा है कि सड़कों से मलबा साफ करने के लिए युद्धस्तर पर काम किया जा रहा है। फंसे हुए पर्यटकों को सुरक्षित बचाया जा रहा है। चारधाम यात्रा भी धीरे-धीरे सामान्य हो रही है।
 
बुधवार का हरिद्वार में गंगा का जलस्तर कम हो गया है। वहीं हल्द्वानी में काठगोदाम में और गौला बैराज में गौला नदी का जलस्तर कम हो गया है। उत्तरकाशी के हर्षिल में ट्रेकिंग दल के फंसे होने की सूचना है। इस दल में सात से आठ लोग बताए जा रहे हैं।
 
दल को सुरक्षित निकालने के लिए पंतनगर से वायुसेना का हेलीकॉप्टर एसडीआरएफ के तीन जवानों को लेकर हर्षिल के लिए रवाना हो गया है। वायु सेना के हेलिकॉप्टरों के लिए नियुक्त नोडल अधिकारी आरएफसी हरवीर सिंह ने बताया की हर्षिल के पास ट्रेकिंग दल के फंसे होने की सूचना है।
 
इसलिए हेलीकॉप्टर को हर्षिल के लिए भेजा गया है। उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में कुछ ट्रेकरों के लापता होने की सूचना है। जिसके बाद से स्थानीय पुलिस और प्रशासन में हड़कंप मच गया है। पर्यटक की खोजबीन के लिए टीम भेजी जा रही है।
 
उत्तराखंड के उत्तरकाशी से लगी भारत-चीन सीमा पर तीन पोर्टरों के लापता होने की सूचना है। तीनों पोर्टर भारत तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) की टीम के साथ सीमा पर लंबी दूरी गश्त के लिए रवाना हुए थे। जो वापसी के दौरान रास्ता भटक गए।
 
बर्फबारी होने से मंगलवार देर शाम तक भी इन पोर्टरों का कोई पता नहीं चल पाया। जिसके बाद आईटीबीपी ने इन पोर्टरों को तलाशने के लिए वायु सेना और राज्य आपदा प्रबंधन से मदद मांगी है। बुधवार की सुबह 20-20 आईटीबीपी जवानों की टीम खोज-बचाव के लिए रवाना हुई है।
 
सेना का हेलीकॉप्टर एनडीआरएफ के छह जवानों को लेकर ओखलकांडा के थलाड़ी के लिए रवाना हो चुका है। प्रशासन सहित 20 लोगों की टीम को भी हेलीकॉप्टर से भेजा जा रहा है।
 
नैनीताल के ओखलकांडा ब्लॉक के थलाड़ी में एक मकान में दबे छह लोगों की खोजबीन के लिए धारी एसडीएम योगेश सिंह के नेतृत्व में एनडीआरएफ की टीम राहत-बचाव अभियान चला रही है। एसडीएम ने बताया कि वह पंतनगर एयरपोर्ट से एनडीआरएफ की टीम के साथ हैलीकॉप्टर के सहारे धानाचूली के शशबनी में उतरेंगे। जहां से थलाड़ी पहुंचा जाएगा।
 
एसडीएम ने बताया कि सड़क बंद और नेटवर्क न होने से परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। हल्द्वानी-भीमताल रोड, भवाली-रामनगर-धानाचूली रोड और नैनीताल-काठगोदाम रोड यातायात के लिए खुली है।
 
वहीं नैनीताल-भवाली रोड, मोहन-बालाघाट रोड, खुटानी-पदमपुरी-धानाचूली रोड, ज्योलीकोट-भवाली रोड और काठगोदाम-हैड़ाखान रोड अभी भी बंद है। भारी बारिश के कारण मंगलवार को बाधित हुआ नैनीताल-कालाढूंगी मार्ग बुधवार को यातायात के लिए खोल दिया गया है।
 
यहं जानकारी डीजीपी अशोक कुमार ने एएनआई न्यूज एजेंसी को दी है। वहीं मड हाउस के पास हल्द्वानी हाईवे भी यातायात के लिए खोल दिया गया है। हल्द्वानी-नैनीताल हाईवे दुपहिया वाहनों के लिये खुल गया है। चारधाम यात्रा फिर से सुचारू हो गई है। मौसम सामान्य होते ही यात्रा ने रफ्तार पकड़ ली है।
 
बुधवार से केदारनाथ धाम यात्रा भी शुरू हो गई है। हालांकि बदरीनाथ हाईवे बंद होने के कारण फिलहाल बदरीनाथ यात्रा शुरू नहीं हो सकी है। यमुनोत्री-गंगोत्री धाम यात्रा मंगलवार से शुरू हो चुकी है। बता दें कि खराब मौसम के चलते चारधाम यात्रा रोक दी गई थी। बुधवार को राजधानी देहरादून सहित अधिकतर इलाकों में मौसम साफ बना हुआ है।
 
इससे लोगों ने राहत की सांस ली है। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह के मुताबिक पश्चिमी विक्षोभ और दक्षिणी पूर्वी हवाओं का असर अब न के बराबर है। उत्तराखंड के मैदानी और पर्वतीय क्षेत्रों में इसका प्रभाव सिर्फ 48 घंटे के लिए ही था। बुधवार को अधिकतम तापमान 31 डिग्री रहेगा।
 
सोमवार और मंगलवार को उत्तराखंड में आई आपदा में 46 लोगों की मौत हुई है। वहीं 12 लोग घायल हैं और 11 लोग लापता हैं। इस आपदा में नौ घर क्षतिग्रस्त हो गए हैं। नेचुरल डिजास्टर इंसीडेंट रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है।