कोरोना के बीच हमीरपुर में स्क्रब टायफस ने पसारे पांव, हफ्ते में आए सात मरीज

कोरोना के बीच हमीरपुर में स्क्रब टायफस ने पसारे पांव, हफ्ते में आए सात मरीज

यंगवार्ता न्यूज़ - हमीरपुर 23-08-2020

हमीरपुर जिला में बरसात के मौसम में हर बार की तरह इस बार भी स्क्रब टायफस ने पांव पसार लिए हैं। अस्पताल में बीते एक सप्ताह में स्क्रब टायफस के सात मरीज सामने आ गए हैं। इनमें से पांच लोग अभी भी मेडिकल कॉलेज में उपचाराधीन हैं। रोजाना इक्का-दुक्का लोग पीलिया से ग्रसित भी पाए जा रहे हैं।

मेडिकल कॉलेज हमीरपुर के महिला व पुरुष वार्ड में स्क्रब टायफस के पांच मरीज भर्ती हैं। चिकित्सकों ने लोगों से सावधानी बरतने की अपील की है। मेडिकल कॉलेज के मेडिसन विशेषज्ञ डॉ. बाबेश बरवाल ने कहा कि लोगों को आजकल एक तो घास या झाड़ियों के नजदीक जाना ही नहीं चाहिए।

अगर ग्रामीण क्षेत्रों में पशुचारा के लिए लोग घास या झाड़ियों में जा रहे हैं तो पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनने चाहिए। इससे पिस्सु के काटने से बचाव होगा। पीलिया से बचाव के लिए उन्होंने संतुलित आहार और पानी उबाल कर पीने की सलाह दी है।

उन्होंने कहा कि पीलिया के प्रकार भी अनेक हैं। इसलिए खान-पान में सुधार और संतुलित भोजन से ही बचाव हो सकता है। मेडिकल कॉलेज के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अनिल सोनी का कहना है कि बरसात में मेडिकल कॉलेज की ओपीडी प्राय बढ़ जाती है।

आजकल जलजनित और कीटजनित रोगों के मरीज अधिक आते हैं। पूर्व में जहां ओपीडी 1200 के करीब थी, बरसात में यह बढ़कर 1500 हो गई है। स्क्रब टायफस पिस्सू के काटने से होता है। यह पिस्सू घास व झाड़ियों और चूहे के रहने वाले स्थानों में पाया जाता है।

इसके कारण घास व झाड़ियों में घूमना, जंगलों में कैंपिंग करना, घास व जंगलों में पूरे तन को न ढकने से इसकी चपेट में आ सकते हैं। बुखार, सिरदर्द, ठंड लगना, मांसपेशियों में जकड़न, पिस्सू के काटने के स्थान पर त्वचा काली होने के बाद घाव बन जाता है।

तन ढकने वाले कपड़े पहनना, कपड़ों व खुद को घास व झाड़ियों से दूर रखना, स्वच्छता, घास या धरती पर लेटने से बचना, चूहे न पनपने देना, कीट भगाने वाली क्रीम का इस्तेमाल, नंगे पैर न चलना और लक्षण दिखने पर तुरंत चिकित्सक को दिखाना।