गिरीपार क्षेत्र जनजातीय मामले को लेकर नाहन में केंद्रीय हाटी समिति की बैठक
केंद्र व प्रदेश सरकार को सभी औपचारिकताएं पूरी कर थमाई जा चुकी है फाइल
यंगवार्ता न्यूज़ - नाहन 07-11-2021
गिरिपार क्षेत्र को जनजातीय क्षेत्र घोषित करने की मांग के मद्देनजर सिरमौर जिला मुख्यालय नाहन में आज केंद्रीय हाटी समिति की एक विशेष बैठक आयोजित हुई।
एसएफडीए हॉल में आयोजित हुई इस बैठक में गिरीपार क्षेत्र के तहत ब्लाकों, तहसीलों, उपतहसीलों के अलावा चंडीगढ़, सोलन व शिमला युनिट के प्रतिनिधियों ने भाग लिया।
केंद्रीय हाटी समिति के अध्यक्ष अमीचंद कमल और महासचिव कुंदन सिंह शास्त्री ने बताया कि बैठक में गिरीपार क्षेत्र को जनजातीय क्षेत्र का दर्जा देने के मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की गई है। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार के समक्ष यह मुद्दा उठाया गया है।
इसके तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दिसंबर माह में जो पत्र लिखा गया था, उस पर प्रधानमंत्री कार्यालय ने संज्ञान लेते हुए हिमाचल सरकार से रिपोर्ट देने को कहा था। उन्होंने बताया कि इस पर हिमाचल सरकार ने केंद्र सरकार को रिपोर्ट सौंप दी है।
रिपोर्ट पर समिति विश्लेषण कर रही है, जिसके बाद समिति द्वारा आगामी कदम उठाया जाएगा। उन्होंने कहा कि केंद्र व प्रदेश सरकार द्वारा गिरिपार क्षेत्र को जनजातीय क्षेत्र घोषित करने के नाम पर जो भी संशय एवं कागजात मांगे गए थे वह केंद्रीय समिति द्वारा उपलब्ध करवा दिए गए हैं।
उन्होंने कहा कि जनजातीय क्षेत्र का मामला अब अगर केंद्र व प्रदेश सरकार ने लटकाया तो केंद्रीय हाटी समिति कठोर कदम उठाने पर विवश होगी। उन्होंने कहा कि आने वाले चुनाव में केंद्रीय हाटी समिति सभी राजनीतिक पार्टियों का भी बहिष्कार करेगी अगर जल्द ही गिरिपार क्षेत्र को जनजातीय क्षेत्र घोषित नहीं किया जाता।
उन्होंने कहा कि केंद्रीय हाटी समिति आक्रोशित है क्योंकि पिछले करीब 50 सालों से किसी भी राजनीतिक पार्टी ने उनकी ओर ध्यान नहीं दिया है केवल मात्र कोरे आश्वासनों से ही क्षेत्र के लोगों को ठगा गया है।
उन्होंने कहा कि गिरी पार क्षेत्र को पिछले कई दशकों से जनजातीय क्षेत्र घोषित करने की मांग की जा रही है मगर आज तक के मुद्दा सिरे नहीं चढ़ पाया है।
भाजपा ने साल 2014 में वायदा किया था कि केंद्र में अगर उनकी सरकार बनती है तो क्षेत्र को जनजातीय क्षेत्र घोषित किया जाएगा मगर भाजपा आज तक ये वायदा पूरा नहीं कर पाई है ऐसे में आने वाले चुनाव में खासकर भाजपा को यहां बहिष्कार का सामना करना पड़ सकता।
गोर हो कि जिला के गिरीपार क्षेत्र की करीब 120 पंचायतों में तकरीबन तीन लाख आबादी हाटी समुदाय की है। हाटी समुदाय की लोक संस्कृति, मेले, त्योहार, धार्मिक मान्यताएं व सामाजिक-आर्थिक हालात साथ लगते उत्तराखंड के जोंसारा समुदाय से एकदम मिलते-जुलते हैं।
हालांकि जौनसार बाबर को यह दर्जा दिया जा चुका है, लेकिन जिला के हाटी समुदाय को एक लंबे अरसे से मांग पूरी होने का इंतजार है। हाटी समीति इस मांग को लेकर लंबे समय से संघर्षरत है।
बैठक मे केंद्रीय समीति अध्यक्ष डाॅ अमीचंद कमल, महासचिव कुंदन सिंह शास्त्री, बीआर ठाकुर, जे आर तोमर, रमेश वर्मा, फकीर चंद चौहान, ज्ञान सिंह चौहान, डाॅ रूप कुमार शर्मा, विवेक तिवारी, एडवोकेट दिनेश चौहान, जगतराम शर्मा और वेद ठाकुर ने अपने विचार रखे।