सीटू जिला कमेटी शिमला का दो दिवसीय दसवां सम्मेलन कालीबाड़ी हॉल शिमला में सम्पन्न
सीटू जिला कमेटी शिमला का दो दिवसीय दसवां जिला सम्मेलन कालीबाड़ी हॉल शिमला में सम्पन्न हुआ। सम्मेलन में 41 सदस्यीय जिला कमेटी का गठन
यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला 28-08-2022
सीटू जिला कमेटी शिमला का दो दिवसीय दसवां जिला सम्मेलन कालीबाड़ी हॉल शिमला में सम्पन्न हुआ। सम्मेलन में 41 सदस्यीय जिला कमेटी का गठन किया गया।
कुलदीप डोगरा को अध्यक्ष,अजय दुलटा को महासचिव,बालक राम को कोषाध्यक्ष,बिहारी सेवगी,रमाकांत मिश्रा,विनोद बिरसांटा,सुनील मेहता,खीमी भंडारी को उपाध्यक्ष,हिमी देवी,अमित कुमार,दलीप सिंह,हरदयाल,लोकेंद्र,प्रीति,शांति,रेखा,पिंगला,रीना,रणजीत,किशोरी ढटवलिया,पूर्ण चंद, देवेंद्र, कश्मीरी, नरेश, काकू, संसार, दीवान को कमेटी सदस्य चुना गया।
सम्मेलन को सीटू प्रदेशाध्यक्ष विजेंद्र मेहरा ने सम्बोधित किया। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार लगातार मजदूरों के कानूनों पर हमले कर रही है। इसी कड़ी में मोदी सरकार ने मजदूरों के चबालिस कानूनों को खत्म करके चार लेबर कोड बनाने,सार्वजनिक क्षेत्र के विनिवेश व निजीकरण के निर्णय लिए हैं। ओल्ड पेंशन स्कीम बहाली,आउटसोर्स नीति बनाने,स्कीम वर्करज़ को नियमित कर्मचारी घोषित करने,मनरेगा मजदूरों के लिए 350 रुपये दिहाड़ी लागू करने आदि विषयों पर केंद्र व प्रदेश सरकार की मज़दूर व कर्मचारी विरोधी नीतियों की कड़ी आलोचना की है।
केंद्र की मोदी सरकार पूंजीपतियों के हित में कार्य कर रही है व मजदूर विरोधी निर्णय ले रही है। पिछले सौ सालों में बने चौबालिस श्रम कानूनों को खत्म करके मजदूर विरोधी चार श्रम संहिताएं अथवा लेबर कोड बनाना इसका सबसे बड़ा उदाहरण है।
सरकार की पूँजीपति परस्त नीतियों से देश की नब्बे प्रतिशत आम जनता सीधे तौर पर प्रभावित हो रही है। सरकार फैक्टरी मजदूरों के लिए बारह घण्टे के काम करने का आदेश जारी करके उन्हें बंधुआ मजदूर बनाने की कोशिश कर रही है।
सुप्रीम कोर्ट द्वारा 26 अक्तूबर 2016 को समान कार्य के लिए समान वेतन के आदेश को आउटसोर्स,ठेका,दिहाड़ीदार मजदूरों के लिए लागू नहीं किया जा रहा है। केंद्र व राज्य के मजदूरों को एक समान वेतन नहीं दिया जा रहा है।
हिमाचल प्रदेश के मजदूरों के वेतन को महंगाई व उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के साथ नहीं जोड़ा जा रहा है। सातवें वेतन आयोग व 1957 में हुए पन्द्रहवें श्रम सम्मेलन की सिफारिश अनुसार उन्हें इक्कीस हज़ार रुपये वेतन नहीं दिया जा रहा है।
नव निर्वाचित जिलाध्यक्ष कुलदीप डोगरा व महासचिव अजय दुलटा ने कहा कि 4 सितम्बर को शिमला में होने वाले मिड डे मील राज्य सम्मेलन में शिमला जिला से चालीस प्रतिनिधि,10 - 11 सितम्बर को पालमपुर में होने वाले आंगनबाड़ी राज्य सम्मेलन में जिला से बीस व 1 - 2 अक्तूबर को मंडी में होने वाले सीटू राज्य सम्मेलन में जिला से छत्तीस प्रतिनिधि भाग लेंगे।
सुप्रीम कोर्ट के निर्णयानुसार समान काम का समान वेतन दिया जाए। सार्वजनिक उपक्रमों का विनिवेश व निजीकरण बन्द किया जाए। चबालिस श्रम कानून खत्म करके मजदूर विरोधी चार श्रम संहिताएं(लेबर कोड) बनाने का निर्णय वापिस लिया जाए।
सभी मजदूरों को ईपीएफ,ईएसआई,ग्रेच्युटी,नियमतित रोज़गार,पेंशन,दुर्घटना लाभ आदि सामाजिक सुरक्षा के दायरे में लाया जाए। भारी महंगाई पर रोक लगाई जाए। पेट्रोल,डीज़ल,रसोई गैस की कीमतें कम की जाएं। रेहड़ी,फड़ी तयबजारी क़े लिए स्ट्रीट वेंडर्स एक्ट को सख्ती से लागू किया जाए।