निगम की कवर्ड पार्किंग में गाड़ियां खड़ी करने के एवज में अब पहले से ज्यादा चुकाना होगा शुल्क
यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला 10-09-2020
कोरोनाकाल में शहरवासियों को एक और झटका लगने वाला है। आने वाले दिनों में उपनगरों में स्थित नगर निगम की कवर्ड पार्किंग में गाड़ियां खड़ी करने के एवज में लोगों को अब पहले से ज्यादा शुल्क चुकाना पड़ेगा।
नगर निगम उपनगरों में स्थित 17 कवर्ड पार्किंग की नई दरें तय करने जा रहा है। यह नई दरें येलो लाइन पार्किंग से ज्यादा होंगी। इस प्रस्ताव पर नगर निगम सदन में चर्चा करवाने की तैयारी है।
नई दरें वर्तमान शुल्क से 100 से लेकर 500 रुपये अधिक हो सकती है। हालांकि, कुल कितनी बढ़ोतरी होगी, यह फैसला सदन लेगा। शहर के नॉन कामर्शियल एरिया में स्थित इन 17 कवर्ड पार्किंग में कुल 1320 गाड़ियां पार्क होती हैं।
कई वार्डों में दो मंजिला पार्किंग हैं तो कहीं एक मंजिला पार्किंग हैं। यह सभी छोटी पार्किंग हैं जिनमें 20 से 60 गाड़ियों को पार्क करने की क्षमता है। इन पार्किंग का वर्तमान शुल्क सड़क किनारे लगाई गई येलो लाइन पार्किंग के बराबर है।
बड़ी गाड़ी का मासिक शुल्क 800 रुपये है जबकि छोटी कार का शुल्क 600 रुपये प्रति महीना है। दो पहिया वाहन का मासिक शुल्क 350 रुपये है। येलो लाइन पार्किंग और कवर्ड पार्किंग के रेट बराबर होने पर शहरवासियों के साथ नगर निगम के अपने पार्षद भी सवाल उठा रहे हैं।
इनका कहना है कि सड़क किनारे लगी येलो लाइन में गाड़ियों की सुरक्षा की कोई गारंटी नहीं है। कवर्ड पार्किंग में गाड़ियां ज्यादा सुरक्षित हैं। ऐसे में या तो येलो लाइन का शुल्क घटाया जाए या फिर कवर्ड पार्किंग के शुल्क बदले जाएं। इसी मांग पर नगर निगम यह प्रस्ताव तैयार कर रहा है।
हालांकि, पूर्व मेयर कुसुम सदरेट, सुनील धर और संजीव ठाकुर समेत कई पार्षद येलो लाइन के रेट कम करने की मांग कर रहे हैं। शहर में येलो लाइन पार्किंग को लेकर पहले ही मारामारी चल रही है।
लोग येलो लाइन में जगह बुक करने के लिए निगम के तय शुल्क देने को भी तैयार हैं। ऐसे में निगम येलो लाइन का शुल्क घटाने की बजाय कवर्ड पार्किंग का शुल्क बढ़ाने की तैयारी कर रहा है। सदन की मंजूरी से ही बढ़ोतरी करने की तैयारी है।
नगर निगम के अतिरिक्त आयुक्त अजीत भारद्वाज ने कहा कि शहर में येलो लाइन पार्किंग और नॉन कामर्शियल एरिया की कवर्ड पार्किंग की दरें अभी समान हैं। दोनों दरें बराबर नहीं हो सकतीं। इसलिए सदन में कवर्ड पार्किंग की नई दरें तय की जाएंगी।