यंगवार्ता न्यूज़ - ऊना 09-08-2022
वन विभाग के अम्ब सर्किल के तहत करीब एक सप्ताह पहले रेंज आफिसर ने तीन वाहनों को अवैध रूप से लकड़ी ले जाते हुए पकड़ा था और वाहनों को हिरासत में लेकर टटेहड़ा वन विभाग के थाने में खड़ा किया। टटेहड़ा थाने का इंचार्ज उस दिन छुट्टी पर था तो उसकी जगह एक वनरक्षक को कार्यभार दिया गया।
तस्करों ने वनरक्षक को साथ मिलाया और उसके साथ शराब पी। वनरक्षक अधिक नशे में मामले को समझ नहीं पाया। इतने में तस्कर हिरासत में रखे तीनों वाहन ले उड़े और उन्होंने लकड़ी को अन्य राज्य में जाकर बेच दिया। सुबह जब वन विभाग के अधिकारियों को इसका पता चला तो हड़कंप मच गया।
तब तक लकड़ी तो बेची जा चुकी थी। ऐसे में वन विभाग दोबारा उसे जब्त करने से रहा। विभाग ने मामले को दबाने के लिए तीनों वाहनों की डैमेज रिपोर्ट काट दी और मामले को दबाने का प्रयास किया। इस मामले में न तो प्राथमिकी दर्ज करवाई और न वनरक्षक पर कोई कार्रवाई की गई।
जबकि वह तस्करों के साथ शराब पीने की बात अधिकारियों के पास स्वीकार कर चुका है। ऐसे में वन विभाग की कार्यप्रणाली सवालों के घेरे में आ गई है कि क्यों विभाग ने हिरासत में लिए वाहनों को भगा ले जाने वालों पर कार्रवाई नहीं की।
डीएफओ ऊना मृत्युंजय माधव का कहना है इस मामले में विभाग ने डैमेज रिपोर्ट काटी है। डैमेज रिपोर्ट व प्राथमिकी एक तरह की कार्रवाई होती है। विभाग की तरफ से लकड़ी तस्कर से एक लाख 70 हजार 50 रुपये जुर्माना वसूल किया गया है। वनरक्षक के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।