मनरेगा की तर्ज पर शहरी जनता को 120 दिन का रोजगार, अंशकालिक बनेंगे दैनिक भोगी
यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला 02-05-2020
हिमाचल कैबिनेट की बैठक शनिवार को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में आयोजित की गई। बैठक में लॉकडाउन के के बाद राज्य सरकार की ओर से शुरू किए जाने वाले आर्थिक सुधारों के बारे में एक प्रस्तुति दी गई।
बैठक में निर्णय लिया गया कि कोरोना महामारी के दृष्टिगत राज्य में अर्थव्यवस्था को पुनः सृदृढ़ करने के लिए शहरी जनता को मुख्यमंत्री शहरी रोजगार गारंटी योजना के तहत 120 दिन का रोजगार मुहैया कराया जाएगा। इसके लिए यदि आवश्यक हो तो उनके कौशल उन्नयन के लिए पर्याप्त प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा।
इस महामारी के दौरान प्रदेश में बाहरी राज्यों से हजारों लोग वापस आए हैं, जिनकी विभिन्न क्षेत्रों में कुशलता हैं, उन्हें उनकी कार्यकुशलता अनुसार रोजगार और स्वरोजगार मुहैया कराने के लिए प्रशिक्षण दिया जाएगा। यह भी निर्णय लिया गया कि विकास कार्यों पर प्रदेश सरकार की ओर से व्यय तीव्र किया जाएगा और फिजूलखर्ची पर अंकुश लगाया जाएगा।
राज्य सरकार ने भवन और अन्य सन्निर्माण कामगार बोर्ड के तहत पंजीकृत लगभग एक लाख श्रमिकों को दो हजार रुपये प्रदान किए है, जिसपर अब तक 20 करोड़ खर्च किए जा चुके हैं। अब सरकार ने इन श्रमिकों को और 2000 रुपये प्रति कामगार प्रदान करने का निर्णय लिया है। कोविद-19 महामारी के कारण राज्य के कृषकों और बागवानों को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है।
किसान अपनी फसलों का विपणन नहीं कर पाए हैं, जिससे उन्हें नुकसान हो रहा है इसलिए, सरकार ने उन्हें कुछ हद तक क्षतिपूर्ति करने का फैसला किया है। सरकार बाजार में उनके उत्पादों के विपणन के लिए हर संभव सहायता प्रदान करने के प्रयास कर रही है।
इस महामारी के कारण पर्यटन उद्योग बुरी तरह प्रभावित हुआ है, इसलिए सरकार ने छह महीने की अवधि के लिए बिजली की मांग के शुल्क को माफ करने का फैसला किया है, जिसके लिए उन्हें लगभग 15 करोड़ रुपये की राहत प्रदान की गई है।
इसी तरह कराधान लाइसेंस शुल्क को माफ कर दिया जाएगा। सरकार एचपीटीडीसी निगम के कर्मचारियों का वेतन भुगतान कर सहायता प्रदान करेगी। इसके अलावा, टोकन टैक्स और विशेष सड़क कर को चार महीने के लिए माफ कर दिया जाएगा और पंजीकरण और परमिट आदि के नवीकरण की देरी पर कोई जुर्माना नहीं लगाया जाएगा। एचआरटीसी को 55 करोड़ की मदद दी जाएगी।