मस्जिद के मौलवी सहित तीन पर एफआईआर , जानिए क्या है मामला
यंगवार्ता न्यूज़ - बिलासपुर 03 April 2020
घुमारवीं मस्जिद में निजामुद्दीन तब्लीगी जमात से आया कोई भी व्यक्ति नहीं ठहरा था। पुलिस द्वारा इस मामले की छानबीन करने के बाद यह सामने आया है कि तब्लीगी जमात से आए व्यक्तियों के ठहरने की गलत सूचना दर्ज की गई थी।
जिस पर थाना घुमारवीं में मस्जिद के मौलवी, मस्जिद का रिकार्ड दर्ज करने वाले व्यक्ति और एक सब्जी विक्रेता के खिलाफ कोरोना वायरस को लेकर झूठी अफवाह फैलाने को लेकर मामला दर्ज किया गया है।
डीएसपी बिलासपुर संजय शर्मा ने मामला दर्ज करने की पुष्टि की है। संजय शर्मा ने बताया कि संबंधित व्यक्तियों ने इस बारे में मस्जिद के मौलवी से उनके नाम मस्जिद के रिकार्ड में दर्ज करने की बात कही थी कि वे लोग 19 व 20 मार्च को इस मस्जिद में रुके थे, जबकि असलियत में ये लोग दिल्ली में ही ठहरे थे।
उन्होंने बताया कि पुलिस द्वारा इस बारे पूरी छानबीन की गई है।बता दें कि कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए देशभर में लगे लॉक डाउन के दौरान दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज से तब्लीगी जमात के 9 लोगों के घुमारवीं में रूकने का मामला मंगलवार को सामने आया था।
इस मामले के सामने आने पर जिला में हडकंप मच गया था। जिस पर घुमारवीं प्रशासन ने प्रारंभिक छानबीन की थी, जिसमें घुमारवीं की मुस्लिम बस्ती के 3 लोगों के संपर्क में आने की बात सामने आई थी।
जिस पर घुमारवीं प्रशासन ने एहतियात के तौर पर इन तीनों को होम क्वारंटाइन कर दिया था। गुरुवार को प्रशासन ने एहतियात के तौर पर इन तीनों के परिवारों को भी होम क्वारंटाइन कर दिया था।
वहीं जिला प्रशासन द्वारा कोठीपुरा की मस्जिद के मौलवी का भी स्वास्थ्य परीक्षण करवाया गया लेकिन उसमें किसी प्रकार के कोरोना वायरस के लक्षण नहीं पाए गए हैं।
जिला प्रशासन ने एहतियात के तौर पर संबंधित मौलवी को भी होम क्वारंटाइन में रख दिया है। संबंधित मौलवी उत्तर-प्रदेश का रहने वाला है।
डीएसपी बिलासपुर संजय शर्मा ने बताया कि तीनों लोगों के विरूद्ध मामला दर्ज कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि गत रात्रि भी सोशल मीडिया पर रानीकोटला के पास अज्ञात व्यक्तियों को घूमते देखने की खबर वायरल हुई है। जांच में ऐसा कुछ नहीं पाया गया। झूठी अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ पुलिस मुकदमा दर्ज करेगी।